दहन और ज्वाला

आठवीं विज्ञान

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पाठ के अंतर्गत पूछे गये प्रश्नों के उत्तर

पहले पैराग्राफ में पूछे गये प्रश्न

प्रश्न संख्या (1) क्या आप अपने घरों में प्रयुक्त होने वाले कुछ ईंधनों के नाम बता सकते हैं?

उत्तर एलपीजी, मिट्टी का तेल, कोयला, लकड़ी, आदि

इन दिनों अधिकांश घरों में एलपीजी का ईंधन के रूप में होता है। हालाँकि ग्रामीण ईलाके में आज भी कुछ घरों में लकड़ी, गोबर के उपले आदि का प्रयोग ईंधन के रूप में होता है।

दहन एवं ज्वाला विभिन्न ईंधन

प्रश्न संख्या (2) मोटर गाड़ियाँ चलाने में कौन से ईंधन काम में आते हैं?

उत्तर पेट्रोल, डीजल, और सीएनजी का उपयोग गाड़ियों को चलाने में ईंधन के रूप में होता है। इन दिनों गाड़ियों के चलाने के लिए विद्युत का भी उपयोग हो रहा है।

भाग 6.1

प्रश्न संख्या (1) काष्ट कोयले के टुकड़े को संडासी से पकड़िये और एक मोमबत्ती अथवा बुंसेन वर्नर की ज्वाला के पास लाइए। आप क्या देखते हैं?

उत्तर काष्ट कोयला वायु में जलने लगता है और उष्मा देता है।

दहन एवं ज्वाला चारकोल का हवा में जलना

प्रश्न संख्या (2) आपने सुना होगा कि जब किसी व्यक्ति के वस्त्र आग पकड़ लेते हैं तो आग बुझाने के लिए व्यक्ति को कम्बल से ढ़क देते हैं। क्या आप बता सकते हैं कि ऐसा क्यों करते हैं?

उत्तर

कम्बल जो कि ऊन का बना होता है कुचालक के रूप में कार्य करता है तथा आग को ढ़क देने से ऑक्सीजन का पवाह रूक जाने से आग को बुझाने में सक्षम होता है। यही कारण है कि जब किसी व्यक्ति के वस्त्र आग पकड़ लेते हैं तो आग बुझाने के लिए व्यक्ति को कम्बल से ढ़क देते हैं।

प्रश्न संख्या (3) क्या एक माचिस की तीली अपने आप जल उठती है? यह किस प्रकार जलाई जाती है?

उत्तर नहीं माचिस की तीली अपने आप नहीं जल उठती है।

एक माचिस की तीली को माचिस की डिब्बी के साइड में लगे घर्षण पटल पर रगड़कर जलाई जाती है।

दहन और ज्वाला माचिस की तीली का जलना

प्रश्न संख्या (4) आपको कागज के टुकड़े जलाने का अनुभव अवश्य होगा। जब जलती हुई माचिस की तीली इसके पास लाते हैं तो क्या यह जल उठता है?

उत्तर हाँ, एक कागज का टुकड़े को जलती माचिस की तीली के पास लाने पर वह जल उठता है।

प्रश्न संख्या (5) क्या आप लकड़ी के एक टुकड़े को, जलती माचिस की तीली उसके पास ला कर जला सकते हैं?

उत्तर नहीं। एक लकड़ी के एक टुकड़े को जलती माचिस की तीली उसके पास ला कर नहीं जला सकते हैं। ऐसा इसलिए है कि एक लकड़ी के टुकड़े का ज्वलन ताप इतना अधिक होता है कि वह एक माचिस की तीली के पास लाकर उसतक नहीं पहुँचा जा सकता है और माचिस की तीली काफी छोटी होती है और कुछ ही समय तक जल पाती है।

प्रश्न संख्या (6) लकड़ी या कोयले को जलाने के लिए आपको कागज अथवा मिट्टी के तेल का उपयोग क्यों करना पड़ता है?

उत्तर लकड़ी या कोयले का ज्वलन ताप अपेक्षाकृत अधिक होता है जिसके कारण उसे जलाने के लिए अधिक उष्मा की आवश्यकता होती है। यही कारण है कि उसे जलाने के लिए कागज अथवा मिट्टी के तेल का उपयोग करना पड़ता है जिसका ज्वलन ताप कम होता है तथा उसके कुछ देर तक जलने पर लकड़ी या कोयला न्यूनतम ज्वलन ताप को पकड़ लेता है।

प्रश्न संख्या (7) क्या आपने जंगल में लगने वाली आग के बारे में सुना है?

उत्तर हाँ। कई बार अत्यधिक गर्मी के कारण जंगलों में आग लग जाया करती है। अधिक गर्मी के कारण जंगलों की सूखी घास या सूखे पत्ते आग पकड़ लेते हैं तो पेड़ों तक फैल जाती है। हालाँकि कई बार लोगों की लापरवाही के कारण भी जंगलों में आग लग जाया करती है जैसे पिकनिक के बाद जलाये गये आग को ठीक से नहीं बुझाए जाने के कारण।

प्रश्न संख्या (8) क्या ये अनुभव आपको बताते हैं कि विभिन्न पदार्थ विभिन्न ताप पर आग पकड़ते हैं?

उत्तर हाँ। विभिन्न पदार्थ विभिन्न ताप पर आग पकड़ते हैं क्योंकि विभिन्न पदार्थों का ज्वलन ताप भिन्न भिन्न होता है।

प्रश्न संख्या (9) क्या अब आप बता सकते हैं कि कमरे के ताप पर माचिस की तीली अपने आप आग क्यों नहीं पकड़ लेती?

उत्तर एक माचिस की तीली का ज्वलन ताप कमरे के तापमान से अधिक होता है, अत: एक माचिस की तीली कमरे के ताप अपने आप आग नहीं पकड़ती है।

प्रश्न संख्या (10) माचिस की तीली, माचिस की डिबिया के बगल में रगड़ने पर क्यों जल जाती है?

उत्तर माचिस की तीलियों के सिरे पर एंटीमनी ट्राइसल्फाइड और पोटैशियम क्लोरेट का लेप लगा होता है। तथा माचिस की डिब्बी के साइड वाले सतहों, जिन्हें घर्षण सतह भी कह सकते हैं पर लाल फॉसफोरस का लेप चढ़ा होता है। जब माचिस की तीली को डिब्बी के घर्षण सतह पर रगड़ा जाता है तो उसपर लगा हुआ लाल फॉस्फोरस सफेद फॉस्फोरस में बदल जाता है। यह सफेद फॉस्फोरस माचिस की तीली पर लगे पोटैशियम क्लोरेट से प्रतिक्रिया कर उसके एंटीमनी ट्राइसल्फेट को प्रज्जवलित कर देता है तथा माचिस की तीली जलने लगती है।

प्रश्न संख्या (11) क्या आपने कभी भोजन पकाने वाले तेल को आग पकड़ते देखा है, जब तलने वाला बर्तन लम्बे समय तक ज्लते हुए स्टोव पर रखा रहता है?

उत्तर हाँ। जब तलने वाले बर्तन में लम्बे समय तक जलते हुए स्टोव पर तेल रखा रहता है तो तेल गर्म होने पर वह वाष्पीकृत होने लगता है, उस वाष्प के चारों ओर फैलकर स्टोव की ज्वाला तक पहुँचने पर उसमें आग पकड़ लेता है।

प्रश्न संख्या (12) कमरे के ताप पर मिट्टी का तेल और लकड़ी अपने आप आग नहीं पकड़ते। परंतु यदि मिट्टी के तेल को थोड़ा गर्म कर दें तो वह आग पकड़ लेता है। क्या इसका ज्वलन ताप लकड़ी के ज्वलन ताप से कम है?

उत्तर हाँ। मिट्टी के तेल का ज्वलन ताप लकड़ी के ज्वलन ताप से कम होता है यही कारण है कि मिट्टी के तेल को थोड़ा गर्म करने पर वह आग पकड़ लेता है।

प्रश्न संख्या (13) क्या इसका अर्थ है कि मिट्टी के तेल को रखने में हमें विशेष सावधानी बरतनी होगी?

उत्तर हाँ। मिट्टी के तेल के रखने में विशेष सावधानी बरतनी चाहिए। क्योंकि मिट्टी के तेल का ज्वलन ताप अपेक्षाकृत कम होता है। यही कारण है कि मिट्टी का तेल यदि फर्श आदि पर या किसी सामान पर गिर जाये और कोई जलती हुई वस्तु असावधानी-वश वहाँ पर चला आये तो उसमें आग पकड़ लेता है।

प्रश्न संख्या (14) क्या आप कुछ और ज्वलनशील पदार्थों की सूची बना सकते हैं?

उत्तर पेट्रोल, एल्कोहॉल, और एलपीजी के अलावे डीजल, मिट्टी का तेल, सीएनजी आदि ज्वलनशील पदार्थ हैं।

भाग 6.2

प्रश्न संख्या (1) क्या आपके शहर/नगर में फायर ब्रिगेड स्टेशन है?

उत्तर हाँ। मेरे शहर में फायर ब्रिगेड स्टेशन है। लगभग प्रत्येक शहरों में फायर ब्रिगेड स्टेशन होता है।

प्रश्न संख्या (2) जब फायर ब्रिगेड आती है तो वह क्या करती है?

उत्तर जब फायर ब्रिगेड आती है, तो वह आग लगे स्थान पर पानी की बौछार करती है। पानी आग लगे पदार्थ को ठंढ़ा कर उसके ताप को ज्वलनशील ताप से नीचे कर देता है। परंतु यदि आग किसी विद्युत के उपकरण में या तेल में लगा हो तो आग लगे स्थान पर कार्बन डाइऑक्साइड का उपयोग कर आग पर काबू पाया जाता है।

प्रश्न संख्या (3) आपने पढ़ा है कि आग उत्पन्न करने के लिए तीन आवश्यकताएँ होती हैं। क्या आप इन आवश्यकताओं की सूची बना सकते हैं?

उत्तर आग जलाने के लिए तीन आवश्यकताएँ हैं ईंधन की उपलब्धता, हवा का प्रवाह, और दाह्य का ज्वलन ताप पर पहुँचना।

भाग 6.3

प्रश्न संख्या (1) एक जलती हुई माचिस की तीली अथवा गैस लाइटर को रसोई में गैस स्टोव के निकट लाइए। गैस स्टोव की घुंडी (नॉब) घुमाकर गैस चालू कर दीजिए। आप क्या देखते हैं?

उत्तरएक जलती हुयी माचिस की तीली अथवा गैस लाइटर को गैस स्टोव के पास लाकर गैस चालू करने पर स्टोव के बर्नर से निकलता हुआ गैस आग पकड़ लेता है और ज्वाला के साथ जलने लगता है।

भाग 6.4

एलपीजी ज्वाला का प्रेक्षण करिए। क्या आप ज्वाला का रंग बता सकते हैं? एक मोमबत्ती की ज्वाला का रंग कैसा होता है?

उत्तर

एलपीजी गैस की ज्वाला का रंग कुछ पीलापन लिये हुए नीले रंग का होता है। एक मोमबत्ती की ज्वाला का अधिकांश भाग पीले रंग का होता है।

टेबल 6.2

टेबल 6.2 में कुछ पदार्थों के नाम दिये गये हैं। इन्हें जलाकर अपने प्रेक्षण रिकार्ड करिए और सारणी में लिखिए कि पदार्थ ज्वाला देता है या नहीं।

सारणी 6.2: दहन पर ज्वाला देने वाले पदार्थ
क्र. सं.पदार्थज्वाला देता हैज्वाला नहीं देता है
1. मोमबत्ती
2.मैग्नीशियम
3. कपूर
4.मिट्टी के तेल वाला स्टोव
5.लकड़ी का कोयला

उत्तर

सारणी 6.2: दहन पर ज्वाला देने वाले पदार्थ
क्र. सं.पदार्थज्वाला देता हैज्वाला नहीं देता है
1. मोमबत्तीहाँ
2.मैग्नीशियमहाँ
3. कपूरहाँ
4.मिट्टी के तेल वाला स्टोवहाँ
5.लकड़ी का कोयलाहाँ

भाग 6.5 ज्वाला की संरचना

प्रश्न संख्या (1) क्रियाकलाप 6.5 में, क्या काँच की नली के बाहर निकलने वाला मोम का वाष्प क्या ज्वाला उत्पन्न होने का कारण हो सकता है?

उत्तर हाँ। काँच की नली से बाहर निकलने वाला मोम का वाष्प ही ज्वाला उत्पन्न करने का कारण है।

प्रश्न संख्या (2) जब मोमबत्ती की ज्वाला स्थिर हो तो ज्वाला के दीप्त क्षेत्र में एक स्वच्छ काँच की प्लेट/स्लाइड प्रविष्ट करिये (चित्र)। उसे संडासी से लगभग 10 सेकंड तक पकड़े रखिए। फिर उसे हटा लीजिए। आप क्या देखते हैं?

दहन और ज्वाला बिना जले हुए मोम का शीशे के प्लेट पर जमना

उत्तर

ग्लास के प्लेट पर काले रंग का धब्बा जम जाता है। मोम में उपस्थित बिना जले हुये कार्बन के कण काले रंग के धब्बा के रूप में जम जाता है।

प्रश्न संख्या (3) एक पतले लम्बे ताँबे के तार को लगभग 30 सेकंड तक ज्वाला में पकड़ कर रखिए (आकृति)।

ध्यान दीजिए कि तार का भाग जो ज्वाला के कुछ ही बाहर है, रक्त तप्त हो जाता है। क्या यह दर्शाता है कि ज्वाला के अदीप्त क्षेत्र का ताप बहुत अधिक है?

उत्तर हाँ। ज्वाला का सबसे बाहरी अदीप्त क्षेत्र सबसे अधिक गर्म होता है अर्थात इस बाह्य क्षेत्र जो पूर्ण दहन का क्षेत्र होता है, का ताप सबसे अधिक होता है। यही कारण है तार का वह भाग जो ज्वाला के कुछ ही बाहर है रक्त तप्त हो जाता है।

प्रश्न संख्या (4) सोने और चाँदी को पिघलाने के लिए सुनार धातु की फुकनी से ज्वाला के सबसे बाहरी भाग को उस पर फूँकते हैं। वे ज्वाला के सबसे बाहरी भाग का उपयोग क्यों करते हैं?

उत्तर ज्वाला का सबसे बाहरी भाग जो अदीप्त भाग होता है तथा पूर्ण दहन का क्षेत्र होता है सबसे गर्म भाग होता है। यही कारण है कि एक सुनार सोने और चाँदी को पिघलाने के लिए धातु की फूँकनी से ज्वाला के सबसे बाहरी भाग को उसपर फूँकता है।

भाग 6.7: ईंधन दक्षता

यदि आपसे कहा जाय कि गोबर के उपले, कोयला और एलपीजी को जला कर पानी की के एक निश्चित मात्रा को उबालें, तो आप कौन से ईंधन को चुनेंगे? इसका कारण बताइए।

उत्तर

पानी के दिये गये निश्चित मात्र को उबालने के लिए मैं एलपीजी को चुनूँगा।

क्योंकि एलपीजी का उष्मीय मान गोबर के उपले और कोयला से अधिक होता है। यही कारण है दिये गये पानी को एलपीजी अपेक्षाकृत जल्दी उबालेगा।

सारणी 6.3: ईंधनों के प्ररूप

क्र. सं.ठोस ईंधनद्रव ईंधनगैसीय ईंधन
1.कोयलामिट्टी का तेलप्राकृतिक गैस
2.
3.

उत्तर

क्र. सं.ठोस ईंधनद्रव ईंधनगैसीय ईंधन
1.कोयलामिट्टी का तेलप्राकृतिक गैस
2.लकड़ीपेट्रोलएलपीजी
3.गोबर के उपलेडीजलहाइड्रोजन गैस

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