नवम गणित (Mathematics Nine:Hindi Medium)

संख्या पद्धति (नवम गणित): क्लास नौवीं गणित

अपरिमेय संख्या

एक संख्या `s` को अपरिमेय संख्या कहा जाता है, यदि इसे `p/q` के रूप में न लिखा जा सकता हो, जहाँ p और q पूर्णांक हैं और `q!=0`.

या वैसी संख्याएँ जिन्हें पूर्णांकों के अनुपात के रूप में नहीं लिखा जा सकता है, को अपरिमेय संख्या कहा जाता है।

उदाहरण: `sqrt2,\ sqrt3,\ sqrt(15), pi` 0.101101110 . . . . . . . . इत्यादि

अपरिमेय संख्याओं का पता सबसे पहले ग्रीस के प्रसिद्ध गणितज्ञ और दार्शनिक पाइथागोरस के अनुयायियों ने लगाया था, जिनमें क्रोटोन के हिपाक्स प्रमुख थे। कहा जाता है कि क्रोटोन के हिपाक्स ने ही `sqrt2`, एक अपरिमेय संख्या है, का पता लगाया था।

वास्तविक संख्या

सभी परिमेय संख्याओं तथा अपरिमेय संख्याओं के सम्मिलित रूप से वास्तविक संख्या (Real Number) कहते हैं। वास्तविक संख्याओं को अंग्रेजी के अक्षर R से निरूपित किया जाता है।

अत: एक वास्तविक संख्या या तो परिमेय है या अपरिमेय।

वास्तविक संख्या रेखा

वास्तविक संख्या या तो परिमेय या अपरिमेय संख्या हो सकती है, अत: यह कहा जा सकता है कि प्रत्येक वास्तविक संख्या को संख्या रेखा के एक अद्वितीय बिन्दु से निरूपित किया जाता है। साथ ही, संख्या रेखा का प्रत्येक बिन्दु के अद्वितीय वास्तविक संख्या रेखा को निरूपित करता है।

अत: संख्या रेखा को वास्तविक संख्या रेखा कहा जाता है।

1870 में दो जर्मन गणितज्ञ कैन्टर और डेडेकिंड ने इसे भिन्न भिन्न विधियों से सिद्ध किया था। उन्होनें यह दिखाया था कि प्रत्येक वास्तविक संख्या रेखा पर एक बिन्दु होता है और संख्या रेखा के प्रत्येक बिन्दु के संगत एक अद्वितीय वास्तविक संख्यां होती है।

एनसीईआरटी प्रश्नावली 1.2 का हल (नवम गणित)

प्रश्न संख्या (1) नीचे दिए गए कथन सत्य हैं या असत्य ? कारण के साथ अपने उत्तर दीजिए।

(i) प्रत्येक अपरिमेय संख्या एक वास्तविक संख्या होती है।

उत्तर: सत्य

ब्याख्या: सभी परिमेय संख्याओं तथा अपरिमेय संख्याओं के सम्मिलित रूप से वास्तविक संख्या (Real Number) कहते हैं। प्रत्येक अपरिमेय संख्या एक वास्तविक संख्या होती है।

(ii) संख्या रेखा का प्रत्येक बिन्दु `sqrt\m` के रूप का होता है जहाँ m एक प्राकृत संख्या है।

उत्तर: असत्य

ब्याख्या: एक संख्या रेखा पर धनात्मक तथा ऋणात्मक दोनों संख्याओं को दर्शाया जाता है। और किसी प्राकृत संख्यां का वर्गमूल कभी भी ऋणात्मक नहीं हो सकता है, अत: दिया गया कथन "संख्या रेखा का प्रत्येक बिन्दु `sqrt\m` के रूप का होता है जहाँ m एक प्राकृत संख्या है। " असत्य है।

(iii) प्रत्येक वास्तविक संख्या एक अपरिमेय संख्या होती है।

उत्तर: असत्य

ब्याख्या: वास्तविक संख्या या तो परिमेय या अपरिमेय दोनों होती है। अत: दिया गया कथन "प्रत्येक वास्तविक संख्या एक अपरिमेय संख्या होती है।" असत्य है।

प्रश्न संख्या (2) क्या सभी धनात्मक पूर्णांकों के वर्गमूल अपरिमेय होते हैं ? यदि नही, तो एक ऐसी परिमेय संख्या के वर्गमूल का उदाहरण दीजिए जो एक परिमेय संख्या है।

उत्तर: नहीं। सभी धनात्मक पूर्णांकों के वर्गमूल अपरिमेय नहीं होते हैं।

उदाहरण: `sqrt4` = 2

यहाँ 4 एक धनात्मक पूर्णांक है जिसका वर्गमूल 2 है, जो कि एक परिमेय संख्या हैं। क्योंकि 2 को `p/q` i.e. `2/1` के रूप में लिखा जा सकता है।

प्रश्न संख्या (3) दिखाइए कि संख्या रेखा पर `sqrt5` को किस प्रकार निरूपित किया जा सकता है।

Solution:

9 math rational number ncert exercise 1.2 q no3

OQ = OE `=sqrt5`

`sqrt5` को संख्या रेखा पर निरूपित करने के चरण :

(a) संख्या रेखा पर एक रेखा OA = 1 यूनिट लिजिए।

(b) `AB_|_OA` खींचिए जहाँ OA = AB = I यूनिट

अब, `triangle OAB` में, `/_A = 90^0`

∴ पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार,

OB2 = OA2 + AB2

= 1 2 + 12

= 1 + 1 = 2

`:. OB = sqrt2`

(c) अब OB पर एक लम्ब CB बनाइए जहाँ CB = OA = 1 यूनिट

अब `triangle OBC` में, `/_B = 90^0`

∴ पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार,

OC2 = OB2 + BC2

`=(sqrt2)^2 + 1^2`

= 2 + 1 = 3

`:. OC = sqrt3`

(d) अब रेखा OD पर DC एक लम्ब बनाइए, जहाँ CD = OA = I यूनिट

अब `triangle OCD` में, `/_C = 90^0`

∴ पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार,

OD2 = OC2 + DC2

`= (sqrt3)^2 + 1^2`

=3 + 1 = 4

`:. OD^2 = sqrt4`

⇒ OD = 2

(e) रेखा OD पर ED एक लम्ब बनाइए, जहाँ ED = OA = I यूनिट

अब `triangle ODE` में, `/_D = 90^0`

∴ पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार,

OE2 = OD2 + ED2

= 22 + 1 2

= 4 + 1 = 5

`:. OE = sqrt5`

अब संख्या रेखा पर OA = OE `=sqrt5` लिजिए

अत:, `OQ = sqrt5`

`OQ = sqrt5` संख्या रेखा पर `sqrt5` का निरूपण है।

प्रश्न संख्या (4) कक्षा के लिए क्रियाकलाप ('वर्गमूल सर्पिल' की रचना) : कागज की एक बड़ी शीट लीजिए और नीचे दी गई विधि से 'वर्गमूल सर्पिल (square root spiral)' की रचना कीजिए। सबसे पहले एक बिन्दु O लीजिए और एकक लम्बाई का रेखाखंड (line segment) OP खींचिए। एकक लम्बाई वाले OP1 पर लम्ब रेखाखंड P1P2 खींचिए (देखिए आकृति)। अब अब OP2 पर लम्ब रेखाखंड P2P3 खींचिए। तब OP3 पर लम्ब रेखाखंड P3P4 खींचिए। इस प्रक्रिया को जारी रखते हुए OPn–1 पर एकक लम्बाई वाला लम्ब रेखाखंड खींचकर आप रेखाखंड Pn–1Pn प्राप्त कर सकते हैं। इस प्रकार आप बिन्दु O, P2, P3, . . . ., Pn, प्राप्त कर लेंगे और उन्हें मिलाकर `sqrt2, sqrt3, sqrt4`, . . . को दर्शाने वाला एक सुंदर सर्पिल प्राप्त कर लेंगे।

9 math rational number ncert exercise 1.2 q no4

हल:

9 math rational number ncert exercise 1.2 q no4 answer

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