त्रिभुज
दसवीं गणित
एनसीईआरटी प्रश्नावली: 6.5
पाइथागोरस प्रमेय (Pythagoras Theorem)
पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार एक समकोण त्रिभुज में कर्ण का वर्ग शेष दो भुजाओं के वर्गों के योग के बराबर होता है।
अर्थात,
मान लिया कि MNO एक समकोण त्रिभुज है, जिसका कोण M = 900 अर्थात समकोण है।
समकोण के सामने वाली (सम्मुख) भुजा कर्ण (Hypotenuse) कहलाती है।
समकोण के संलग्न क्षैतिज भुजा को आधार (base) तथा समकोण के संलग्न उर्ध्वाकार भुजा को लम्ब (Perpendicular) कहा जाता है।
कर्ण को प्राय: अंग्रेजी के अक्षर `h` से निरूपित किया जाता है, चूँकि कर्ण को अंग्रेजी में Hypotenuse कहते हैं।
आधार को प्राय: अंग्रेजी के अक्षर `b` से निरूपित किया जाता है, चूँकि आधार को अंग्रेजी में Base कहा जाता है।
लम्ब को प्राय: अंग्रेजी के अक्षर `p` से निरूपित किया जाता है, चूँकि लम्ब को अंग्रेजी में Perpendicular कहा जाता है।
अत: पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार,
(कर्ण)2 = (लम्ब)2 + (आधार)2
या, `h^2 = p^2 + b^2` -------- (i)
इस प्रमेय का नाम ग्रीक के गणितज्ञ पाइथागोरस (Pythagoras) के नाम पर रखा गया है। इस प्रमेय को पाइथागोरियन प्रमेय (Pythagorean Theorem) भी कहा जाता है। तथा इस प्रमेय से प्राप्त समीकरण (i) को पाइथागोरियन समीकरण (Pythagorean Equation) कहा जाता है।
पाइथागोरस प्रमेय पर आधारित अन्य प्रमेय:
प्रमेय: 2. यदि किसी समकोण त्रिभुज के समकोण वाले शीर्ष से कर्ण पर लम्ब डाला जाए तो इस लम्ब के दोनों ओर बने त्रिभुज सम्पूर्ण त्रिभुज के समरूप होते हैं तथा परस्पर भी समरूप होते हैं।
बौधायन का प्रमेय: एक आयत का विकर्ण स्वयं से उतना ही क्षेत्रफल निर्मित करता है, जितना उसकी दोनों भुजाओं (अर्थात लम्बाई और चौड़ाई) से मिल कर बनता है।
अर्थात, किसी आयत के विकर्ण से बने वर्ग का क्षेत्रफल इसकी दोनों आसन्न भुजाओं पर बने वर्गों के योग के बराबर होता है।
प्रमेय: 3. यदि किसी त्रिभुज की एक भुजा का वर्ग अन्य दो भुजाओं के वर्गों के योग के बराबर हो तो पहली भुजा का सम्मुख कोण समकोण होता है।
एनसीईआरटी प्रश्नावली: 6.5
पाईथागोरस प्रमेय पर आधारित प्रश्न
प्रश्न संख्या: 1. कुछ त्रिभुजों की भुजाएँ नीचे दी गई हैं। निर्धारित कीजिए कि इनमें से कौन कौन से त्रिभुज समकोण त्रिभुज हैं। इस स्थिति में कर्ण की लम्बाई भी लिखिए।
(i) 7 cm, 24 cm, 25 cm
(ii) 3 cm, 8 cm, 6 cm
(iii) 50 cm, 80 cm, 100 cm
(iv) 13 cm, 12 cm, 5 cm
हल:
एक समकोण त्रिभुज में सबसे लम्बी भुजा कर्ण (Hypotenuse) होती है।
तथा एक समकोण त्रिभुज की भुजाएँ पाइथागोरस प्रमेय का पालन करती है।
अर्थात, (कर्ण) 2 = (लम्ब) 2 + (आधार) 2
(i) 7 cm, 24 cm, 25 cm
पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार हम जानते हैं कि, एक समकोण त्रिभुज में सबसे बड़ी भुजा का वर्ग शेष दोनों भुजाओं के वर्गों के योग के बराबर होता है। अर्थात, (कर्ण) 2 = (लम्ब) 2 + (आधार) 2
चूँकि एक समकोण त्रिभुज में सबसे लम्बी भुजा कर्ण होती है, अत: मान लिया कि त्रिभुज के लिये दी गई भुजाओं में सबसे बड़ी भुजा 25 cm कर्ण है।
अत:
`=>25^2 = 7^2 + 24^2 `
`=>625 = 49 + 576`
`=>625 = 625`
चूँकि त्रिभुज की दी गई भुजाएँ, पाइथागोरस प्रमेय का पालन करती हैं, अत: ये समकोण त्रिभुज की भुजाएँ हैं।
चूँकि एक समकोण त्रिभुज में सबसे बड़ी भुजा कर्ण होती है या कहलाती है, अत: कर्ण = 25 cm.
समकोण त्रिभुज है, कर्ण = 25 cm उत्तर
(ii) 3 cm, 8 cm, 6 cm
पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार हम जानते हैं कि, एक समकोण त्रिभुज में सबसे बड़ी भुजा का वर्ग शेष दोनों भुजाओं के वर्गों के योग के बराबर होता है। अर्थात, (कर्ण) 2 = (लम्ब) 2 + (आधार) 2
चूँकि एक समकोण त्रिभुज में सबसे लम्बी भुजा कर्ण होती है, अत: मान लिया कि त्रिभुज के लिये दी गई भुजाओं में सबसे बड़ी भुजा 8 cm कर्ण है।
अत:
`=> 8^2 = 3^2 + 6^2 `
`=>64 = 9 + 36`
`=>64 != 45`
यहाँ एक त्रिभुज के लिए दी गई भुजाएँ चूँकि पाइथागोरस प्रमेय का पालन नहीं करती है।
अत: यह समकोण त्रिभुज नहीं है। उत्तर
(iii) 50 cm, 80 cm, 100 cm
पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार हम जानते हैं कि, एक समकोण त्रिभुज में सबसे बड़ी भुजा का वर्ग शेष दोनों भुजाओं के वर्गों के योग के बराबर होता है। अर्थात, (कर्ण) 2 = (लम्ब) 2 + (आधार) 2
चूँकि एक समकोण त्रिभुज में सबसे लम्बी भुजा कर्ण होती है, अत: मान लिया कि त्रिभुज के लिये दी गई भुजाओं में सबसे बड़ी भुजा 100 cm कर्ण है।
अत:
`100^2 = 50^2 + 80^2`
`=>10000 = 2500+6400`
`=>10000 != 8900`
यहाँ एक त्रिभुज के लिए दी गई भुजाएँ चूँकि पाइथागोरस प्रमेय का पालन नहीं करती है।
अत: यह समकोण त्रिभुज नहीं है। उत्तर
(iv) 13 cm, 12 cm, 5 cm
पाइथागोरस प्रमेय के अनुसार हम जानते हैं कि, एक समकोण त्रिभुज में सबसे बड़ी भुजा का वर्ग शेष दोनों भुजाओं के वर्गों के योग के बराबर होता है। अर्थात, (कर्ण) 2 = (लम्ब) 2 + (आधार) 2
चूँकि एक समकोण त्रिभुज में सबसे लम्बी भुजा कर्ण होती है, अत: मान लिया कि त्रिभुज के लिये दी गई भुजाओं में सबसे बड़ी भुजा 13 cm कर्ण है।
अत:
`=>13^2 = 5^2 + 12^2 `
`=>169 = 25 + 144`
`=>169 = 169`
चूँकि त्रिभुज की दी गई भुजाएँ, पाइथागोरस प्रमेय का पालन करती हैं, अत: ये समकोण त्रिभुज की भुजाएँ हैं।
चूँकि एक समकोण त्रिभुज में सबसे बड़ी भुजा कर्ण होती है या कहलाती है, अत: कर्ण = 13 cm.
समकोण त्रिभुज है, कर्ण = 13 cm उत्तर
प्रश्न संख्या: 2. PQR एक समकोण त्रिभुज है जिसका कोण P समकोण है तथा QR पर बिन्दु M इस प्रकार स्थित है कि `PM_|_QR` है। दर्शाइए कि PM2 = QM . MR है।
हल:
मान लिया कि एक समकोण त्रिभुज PQR है।
दिया गया है,
`/_P = 90^o` (समकोण)
तथा, `PM _|_ QR`
मान लिया कि `/_MPQ = x`
`/_ MQP = 180^o-(/_PMQ+/_MPQ)`
[∵ एक त्रिभुज के तीनों कोणों का योग 180o के बराबर होता है।]
`= 180^o-(90^o + x)`
`=180^o-90^o-x`
`=90^o-x`
अब त्रिभुज PMR में,
`/_MPR = /_RPQ-/_MPQ`
`/_MPR = 90^o-x`
[∵ मान लिया गया है कि `/_MPQ = x` तथा प्रश्न के अनुसार कोण P समकोण है]
अब, `/_MRP = 180^o-[/_PMR+(90-x)]`
`=180^o-(90^o+90^o-x)`
`=180^o-(180^o-x)`
`=180^o-180^o+x`
`=>/_MRP = x`
अब त्रिभुज PMR तथा PMQ में,
`/_PMR = /_PMQ = 90^o`
`/_MQP = /_RPM = 90^o-x`
`/_MRP = /_MPQ = x`
अत: AAA (कोण-कोण-कोण) समरूपता की कसौटी के आधार पर,
`triangle` PMR ~ `triangle` PMQ
अत:, `(MR)/(PM) = (PM)/(QM)`
`=>PM^2 = QM*MR` प्रमाणित
प्रश्न संख्या: 3 . दिये गये आकृति में ABD एक समकोण त्रिभुज है जिसका कोण A समकोण है तथा `AC _|_ BD` है। दर्शाइए कि
(i) AB2 = BC . BD
(ii) AC2 = BC. DC
(iii) AD2 = BD. CD
हल:
(i) AB2 = BC . BD
त्रिभुज BAD तथा त्रिभुज BAC में,
`/_BAD = /_ACB`
[&becuas; दोनों कोण बराबर हैं 900 ]
`/_DBA = /_CBA`
[∵ दोनों कोण उभयनिष्ठ हैं।]
अत: AA (कोण-कोण) कसौटी के आधार पर
`triangle` BAD ~ `triangle` BAC
अत:, `(AB)/(BC) = (BD)/(AB)`
बज्र गुणन से हम पाते हैं,
`=>AB^2 = BC*BD` प्रमाणित
(ii) AC2 = BC. DC
त्रिभुज BAC तथा त्रिभुज ADC में,
`/_ACB = /_ DCA` [∵ दोनों समकोण हैं।]
अब, `/_CBA = 180^o-(/_BAC+/_ADC)`
`=>CBA = 180^o-(90^o+/_ADC)`
[∵ ABD एक समकोण त्रिभुज है जिसका कोण `/_A` समकोण है (प्रश्न के अनुसार)]
`=>CBA = 90^o-/_ADC` ---------- (i)
अब, `/_CAD =180^o-(/_ACD+/_ADC)`
`=>/_CAD = 180^o-(90^o+/_ADC)`
`=>/_CAD = 90^O-/_ADC` -----------(ii)
समीकरण (i) तथा (ii) से,
`/_CBA = /_CAD` ------------- (iii)
त्रिभुज BAC तथा त्रिभुज ADC में,
`/_CBA = /_CAD` [समीकरण (iii) से]
तथा, `/_ACB = /_DCA` [∵ दोनों समकोण हैं]
अत: AA (कोण-कोण) समरूपता की कसौटी के आधार पर,
`triangle` BAC ~ `triangle` CAD
अत: `(AC)/(BC) = (DC)/(AC)`
बज्र गुणन से हम पाते हैं कि AC × AC = BC × DC
⇒ AC2 = BD.DC प्रमाणित
(iii) AD2 = BD. CD
त्रिभुज ADB तथा त्रिभुज ADC में,
`/_BAD= /_ACD`
[∵ दोनों समकोण हैं।]
`/_ CDA = /_BDA`
[`triangle` ADB तथा `triangle` ADC में उभयनिष्ठ कोण हैं]
अत: AA (कोण-कोण) समरूपता की कसौटी के आधार पर
`triangle` ADB ~ `triangle` ADC
अत: `(AD)/(BD) = (CD)/(AD)`
बज्र गुणन के बाद हम पाते हैं कि,
AD × AD = BD × CD
`=>AD^2 = BD * CD` प्रमाणित
प्रश्न संख्या: 4. ABC एक समद्विबाहु त्रिभुज है जिसका कोण C समकोण है। सिद्ध कीजिए कि, AB2 = 2 AC2.
हल:
मान लिया कि ABC एक समकोण त्रिभुज है।
प्रश्न के अनुसार, इस त्रिभुज ABC में,
`/_C = 90^o` तथा AC = BC
तो सिद्ध करना है, AB2 = 2 AC2
पाइथागोरस प्रमेय के आधार पर हम जानते हैं कि,
(कर्ण)2 = (लम्ब)2 + (आधार)2
⇒ AB2 = AC 2 + CB 2
⇒ AB 2 = AC 2 + AC 2
[∵ CB = AC]
⇒ AB2 = 2 AC2 प्रमाणित
प्रश्न संख्या: 5. ABC एक समद्विबाहु त्रिभुज है जिसमें AC = BC है। यदि AB2 = 2 AC 2 है, तो सिद्ध कीजिए कि ABC एक समकोण त्रिभुज है।
हल:
मान लिया कि एक त्रिभुज ABC है।
प्रश्न के अनुसार इस त्रिभुज में, AC = BC
यदि, AB2 = 2AC 2 तो सिद्ध करना है कि ABC एक समकोण त्रिभुज है।
अब, AB2 = 2AC 2
⇒ AB2 = AC2 + AC 2
⇒ AB2 = AC2+BC2 ----------(i)
[∵ AC = BC (प्रश्न के अनुसार)]
समीकरण (i) से स्पष्ट है, कि दिया गया त्रिभुज की भुजाएं पाइथागोरस प्रमेय का पालन करती है।
अत: दिया गया त्रिभुज एक समकोण त्रिभुज है। प्रमाणित
प्रश्न संख्या: 6. एक समबाहु त्रिभुज ABC की भुजा 2a है। उसके प्रत्येक शीर्ष लम्ब की लम्बाई ज्ञात कीजिए।
हल:
मान लिया कि दिया गया समबाहु त्रिभुज ABC है।
दिया गया है, त्रिभुज की एक भुजा `= 2a`
मान लिया कि त्रिभुज के शीर्ष A से एक लम्ब AD डाला गया।
तो शीर्ष लम्ब AD की लम्बाई = ?
हम जानते हैं कि समबाहु त्रिभुज का शीर्ष लम्ब सम्मुख भुजा को दो बराबर भागों में बाँटती है।
अत: त्रिभुज ABC में, BD = DC =`1/2` BC = `1/2xx2aa= a`
[∵ BD+DC=BC = 2a]
अब त्रिभुज ABD में,
AB = 2a, BD = a
तथा `/_ADB = 90^o`
अत: पाइथागोरस प्रमेय के आधार पर,
AB2 = BD2 + AD2
⇒ (2a) 2 = a2 + AD2
⇒ AD2 = 4a2 – a2
⇒ AD2 = 3a2
`=>AD = sqrt3\ a`
चूँकि ABC एक समबाहु त्रिभुज है, तथा समबाहु त्रिभुज के सभी शीर्ष लम्ब बराबर होते हैं।
अत: दिये गये त्रिभुज ABC का प्रत्येक शीर्ष लम्ब की लम्बाई `=sqrt3\ a` उत्तर
Reference: